03 July 2025

प्राइमरी स्कूल टीचर: तबादला पाए शिक्षकों को 12 जुलाई तक संभालना होगा कार्यभार, विभाग ने जारी किए ये निर्देश

 



आठ साल के बाद प्राइमरी स्कूल के शिक्षकों का जिलों के अंदर तबादला हुआ है। 30 जून की रात तबादलों की सूची आई थी। अब उन्हें हर हाल में 12 जुलाई तक ज्वाइन करना होगा।



प्राइमरी स्कूलों के टीचरों की ट्रांसफर प्रक्रिया। 

प्रदेश में आठ साल बाद परिषदीय विद्यालयों के शिक्षकों का जिले के अंदर सामान्य तबादला किया गया। इसमें 20182 शिक्षकों को तबादला मिला है। इन शिक्षकों को 12 जुलाई तक संबंधित विद्यालयों में कार्यभार ग्रहण करना है। हालांकि बेसिक शिक्षा परिषद ने कहा है कि संबंधित विद्यालय में मानक के अनुसार शिक्षक-छात्र अनुपात न प्रभावित हो, तभी शिक्षकों को कार्यमुक्त किया जाएगा।

बेसिक शिक्षा परिषद ने लंबी कवायद के बाद 30 जून को देर रात शिक्षकों की तबादला सूची जारी की। इसके बाद दो दिन से जिलों में परिषद की ओर से शिक्षकों को कार्यभार ग्रहण कराने को लेकर निर्देश की प्रतीक्षा की जा रही थी। हाल में बेसिक शिक्षा परिषद की ओर से इसे लेकर विस्तृत दिशा-निर्देश दिए गए हैं। इसमें कहा गया है कि तबादला पाए शिक्षकों को मानव संपदा पोर्टल पर साथ-साथ कार्यमुक्त व कार्यभार ग्रहण कराने की प्रक्रिया 12 जुलाई तक की जाएगी।


परिषद के सचिव सुरेंद्र कुमार तिवारी ने कहा है कि तबादला व समायोजन में आरटीई एक्ट के अनुसार छात्र-शिक्षक अनुपात प्रभावित न हो, इसका ध्यान रखते हुए कार्यमुक्त व कार्यभार ग्रहण कराया जाएगा। उन्होंने कहा है कि शिक्षकों के विषय, कैडर, पदनाम जांच कर व नियमित शिक्षक को ही कार्यमुक्त व कार्यभार दिया जाएगा।


शिक्षकों का ग्रामीण सेवा संवर्ग से ग्रामीण सेवा संवर्ग व नगर सेवा संवर्ग में नगर सेवा संवर्ग में ही शिक्षकों का तबादला किया जाएगा। सचिव परिषद ने सभी बीएसए को निर्देश दिया है कि शिक्षकों को कार्यमुक्त व कार्यभार कराने की सभी कार्यवाही निर्धारित प्रक्रिया के अनुसार पारदर्शी तरीके से कराएं। इसमें किसी तरह की गड़बड़ी मिलने पर वह पूरी तरह उत्तरदायी होंगे।


*तो क्या बिना शिक्षक-छात्र अनुपात देखे हुए तबादले*


*परिषद की ओर से जिलों के अंदर सामान्य तबादला यह कहते हुए किया गया था कि इसे शिक्षक-छात्र अनुपात को देखते हुए किया जा रहा है। किंतु अब तबादला होने के बाद यह कहा जा रहा है कि शिक्षक-छात्र अनुपात प्रभावित न हो, ऐसी स्थिति में ही शिक्षक कार्यमुक्त किए जाएं। इससे परिषद की तबादला व्यवस्था पर सवाल उठ रहे हैं। कुछ जिलों में तबादला पाए शिक्षक इसकी वजह से कार्यमुक्त नहीं हो रहे हैं।*