। उत्तर प्रदेश के शहरों में अब मकान के साथ दुकान बनाने की सुविधा भी मिलेगी। अब 100 वर्ग मीटर तक के भूखंडों के लिए आवासीय भवन, 30 वर्ग मीटर तक के भूखंडों के लिए-वाणिज्यिक भवन बन सकेंगे। इसके लिए नक्शा पास कराने की जरूरत नहीं होगी।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में गुरुवार को हुई कैबिनेट बैठक में उत्तर प्रदेश विकास प्राधिकरण भवन निर्माण एवं विकास उपविधियों तथा आदर्श जोनिंग रेगुलेशन्स 2025 को मंजूरी दी गई। मिश्रित उपयोग का यह छूट वर्ष 2011 की जनगणना के अनुसार 10 लाख से अधिक आबादी वाले शहरों में 24 मी या अधिक चौड़ी सड़कों पर होगी। 10 लाख से कम आबादी वाले शहरों में 18 मी या अधिक चौड़ी सड़कों पर यह छूट होगी। 500 वर्ग मीटर तक आवासीय भवन, 200 वर्ग मीटर तक वाणिज्यिक भवन के लिए ऑनलाइन अनुमोदन स्वत: होगा। एकल आवासीय भवन मानचित्र किसी सरकारी विभाग द्वारा निर्मित नौ मी, अधिक चौड़ी सड़क पर या प्राधिकरण द्वारा चिन्हित 300 वर्ग मी. तक भूखण्डों के लिए प्रमाण-पत्र, अभिलेख एवं समस्त देय शुल्कों का भुगतान पर स्वतः अनुमोदित होंगे।
डॉक्टर,वकील,सीए घर में ऑफिस बना सकेंगे
article image 01
article image 11
article image 21
4000 वर्गमीटर से बड़े भूखंड के लिए पार्किंग
पार्किंग की उपलब्धता को बढ़ावा देने के लिए पोडियम पार्किंग एवं मैकेनाइज्ड ट्रिपल- स्टैक पार्किंग की अनुमति होगी। 4000 वर्गमीटर से बड़े भूखंड के लिए एक पृथक से पार्किंग ब्लॉक बनेगा। चिकित्सालयों में पृथक से एम्बुलेंस पार्किंग के लिए नए प्राविधान किए गए हैं, साथ ही विद्यालयों में बस पार्किंग एवं पिक-एंड-ड्रॉप ज़ोन के लिए पृथक प्राविधान प्रस्तावित किए गए हैं।
ऊंचाई सीमा बढ़ी
एफ.ए.आर. के आधार पर ऊंचाई निर्धारित हो सकेगी। भूखंड के समग्र उपयोग में सुधार के उद्देश्य से 15 मीटर से अधिक ऊंचे भवनों हेतु अधिकतम सेटबैक को सभी ओर से 16 मीटर से घटाकर अग्रभाग के सेटबैक के लिए 15 मीटर तथा शेष तरफ 12 मीटर होगा। नौ मीटर चौड़ी सड़कों पर बिना शैय्या वाले चिकित्सा प्रतिष्ठान बन सकेंगे। साथ ही छोटे भूखंडों पर चिकित्सालयों की अनुमति है।
अब 18 मीटर सड़कों पर बन सकेंगे शॉपिंग मॉल
अधिकांश श्रेणियों में पहुंच मार्ग की न्यूनतम चौड़ाई को कम किया गया है। 7-मीटर चौड़ी सड़कों पर उद्योग एवं होटल, 9 मीटर चौड़ी सड़कों पर बिना शैय्या वाले चिकित्सा प्रतिष्ठान 18-मीटर सड़कों पर शॉपिंग मॉल की अनुमति दी गई है।
लखनऊ, विशेष संवाददाता। चार्टर्ड अकाउंटेंट, चिकित्सक, अधिवक्ता जैसे सेवा प्रोफेशनल्स द्वारा अपने कार्यालय के उपयोग के लिए तथा नर्सरी, क्रैच, होमस्टे संचालन हेतु अपने घर का 25 प्रतिशत तक एफ.ए.आर. का उपयोग किया जा सकता है। बशर्ते कि पर्याप्त पार्किंग आवश्यकताओं का प्राविधान किया गया हो, इसके लिए पृथक से मानचित्र अनुमोदन की आवश्यकता नहीं होगी।
बढ़ा फ्लोर एरिया रेशियो: अधिकांश श्रेणियों के लिए फ्लोर एरिया रेशियो को चौड़ी सड़कों पर बढ़ा दिया गया है। 45 मीटर से अधिक चौड़ी सड़कों पर एफ.ए.आर. की अधिकतम सीमा नहीं रखी गई है।
चिकित्सालय व शापिंग माल न्यूनतम 3000 वर्ग मीटर में: अब चिकित्सालय एवं शॉपिंग मॉल न्यूनतम 3000 वर्ग मीटर के भूखण्ड पर बन सकेंगे। शैक्षिक भवनों द्वारा खेल के मैदान, खुले क्षेत्र आदि की आवश्यकताओं को बनाए रखते हुए संबद्ध संस्थानों की आवश्यकताओं का पालन किया जाना होगा।
ग्रुप हाउसिंग हेतु भूखंड क्षेत्रफल घटा: बहुमूल्य नगरीय भूमि के इष्टतम उपयोग को बढ़ावा देने के लिए ग्रुप हाउसिंग हेतु भूखंड क्षेत्रफल 2000 वर्ग मीटर से घटा कर बिल्टअप (निर्मित) क्षेत्र में 1000 वर्ग मीटर तथा नॉन- बिल्टअप (अनिर्मित) क्षेत्र में 1500 वर्ग मीटर किये जाने तथा बहु-इकाइयों के लिए भूखंड क्षेत्र की आवश्यकताओं को घटाकर 150 वर्ग मीटर किये जाने का प्रस्ताव मंजूर किया गया है।
45 मीटर चौड़ी सड़क बन सकेगी ऊंची बिल्डिंग: यूपी सरकार ने 45 मीटर चौड़ी सड़क पर स्थित भूखंडों पर निर्माण पर एफएआर की सीमा को समाप्त कर दिया गया है। इससे ऊंची बिल्डिंग बनाने का रास्ता साफ हो गया है। प्रदेश सरकार ने अधिकांश श्रेणी के निर्माण के लिए फ्लोर रेशियो एरिया (एफएआर) को चौड़ी सड़कों पर बढ़ा दिया है। वहीं, 100-300 क्षेत्रफल के एकल इकाई वाले प्लाट के लिए एफएआर सीमा को बढ़ाकर 2.25 से 2.5, 300-1200 वर्ग मीटर के प्लाट के लिए 2.5, विकसित क्षेत्र में 9 से 45 मीटर चौड़ी सड़क पर प्लाट के लिए एफएआर की अधिकतम सीमा 2.1 से 2.5 किया गया है।