वेतन विसंगति 17140 सर्वे:- इस विसंगति से बेसिक शिक्षा विभाग में कितने शिक्षक प्रभावित हैं, यह फॉर्म इसके सर्वे हेतु विकसित किया गया है।कृपया इसे अतिशीघ्र भरें, जिससे 17140 की विसंगति दूर करने की रणनीति तैयार हो सके, भरें यह गूगल फॉर्म


सम्मानित साथियों
दिनांक 31/12/2020 को अपर मुख्य सचिव बेसिक शिक्षा श्रीमती रेणुका कुमार द्वारा 17140 के हमारे प्रकरण में प्रत्यावेदन खारिज कर दिया गया। इस प्रत्यावेदन को खारिज करते हुए उन्होंने जून 2014 के आदेश को आधार बनाते हुए यह कहा है कि मात्र 1 जनवरी 2006 से 1 दिसंबर 2008 तक के पदोन्नति प्राप्त शिक्षकों को ही पदोन्नति तिथि से मूल वेतन 17140 देय है और केंद्र सरकार द्वारा 17140 के प्रकरण में दूर की गई इस विसंगति के कार्यालय ज्ञाप को उन्होंने अपने प्रदेश में लागू नहीं होना बताया।हमारी मांग यह नहीं है कि 2014 का शासनादेश क्या कहता है?
हमारी मांग यह है कि यदि केंद्र सरकार ने इस विसंगति को दूर किया है तो उत्तर प्रदेश सरकार इस विसंगति को क्यों नहीं दूर कर रही है?
एक बड़ी लड़ाई है इसे धैर्य के साथ लड़ना होगा।
इसी तरह से जब दिल्ली में वहां के शिक्षकों ने यह लड़ाई लड़ी तो सबसे पहले ट्रिब्यूनल में सरकार हारी। सरकार ने हाई कोर्ट में अपील की है,सरकार हाईकोर्ट में भी हार गई।उसके बाद सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में अपील किया सुप्रीम कोर्ट में भी जब हार गए तब इन्होंने मजबूरन 17140 पदोन्नति तिथि से दिया था।
जब केंद्र सरकार इतनी लड़ाई के बाद यह हक दी है तो हम राज्य सरकार से बिना लड़े 17140 कैसे प्राप्त कर सकते हैं?
हमारे सभी बिंदु मजबूत हैं बस जरूरत है इसमें लगातार लगे रहने की क्योंकि सरकार यह जानती है कि इस मुद्दे को जितना डिले किया जाएगा उतना ही लोग इसको भूलते जाएंगे इसीलिए वह जानबूझकर प्रत्यावेदन का निस्तारण नहीं कर रहे थे। अब इस निस्तारण के विरुद्ध जब हम कोर्ट में अपना पक्ष रखेंगे तब सरकार को कोर्ट में यह साबित करना होगा कि यह विसंगति नहीं है जोकि स्पष्ट रूप से दृष्टित है कि आप एक ही प्रदेश में 1/1/2006 से 01/12/2008 तक पदोन्नत शिक्षको के लिए यह विकल्प दे रहे हैं कि उनको 17140 पदोन्नति तिथि से दिया जाए और नई भर्ती में भी मूल वेतन 17140 से शुरुआत कर रहे हैं परंतु 1 दिसंबर 2008 से मई 2015 तक जितनी पदोन्नति हुई हैं उनको आप 17140 बिना किसी मजबूत आधार के खारिज कर देते हैं!
यह कहां तक उचित और न्यायसंगत है?

साथियों हम यह लड़ाई अब न्यायालय और सोशल मीडिया में एक साथ लड़ेंगे ।साथ ही साथ शिक्षक संगठनों को मजबूर करेंगे कि वह इस विसंगति को दूर करने के लिए अपनी कमर कसें एवं जब कोई 17140 का आंदोलन हो तो उसमें अन्य मांगों को न जोड़ा जाए या पेंशन के मुद्दे पर भटका कर 17140 की लड़ाई को समाप्त न किया जाए।
इस प्रकरण में हमारे प्रदेश के कितने शिक्षक साथी प्रभावित हैं इसकी जानकारी के लिए यह गूगल फॉर्म विकसित किया जा रहा है।जिसका लिंक इस पोस्ट में दिया जा रहा है। यदि आप 17140 के विसंगति से प्रभावित हैं तो इस गूगल फॉर्म को शीघ्र अति शीघ्र भर दें। जिससे की आगे की रणनीति बनाई जा सके इसके अतिरिक्त एक टेलीग्राम ग्रुप बनाया गया है जिसमें इस विसंगति से प्रभावित लोग ही जुड़े या विनम्र अनुरोध है।
भवदीय
*17140 विसंगति निवारण समिति*
उत्तर प्रदेश

गूगल फॉर्म का लिंक