PRIMARY KA MASTER: सीडीओ की टीमों ने 141 स्कूलों में की छापेमारी जनपद में 122 शिक्षक मिले नदारद, मचा हड़कंप

Rampur, सीडीओ के आदेश पर अधिकारियों के नेतृत्व में गठित टीमों ने जिले के 141 सरकारी स्कूलों में छापेमारी की। इस दौरान 122 शिक्षक एवं शिक्षिकाएं नदारद मिली। जबकि 704 शिक्षक स्कूलों में उपस्थिति पाए गए। नदारद शिक्षकों के खिलाफ कार्रवाई करने के आदेश जारी किए गए हैं। शनिवार देर रात 11 बजे तक सभी ब्लाकों से सूची मंगाकर परियोजना निदेशक डीआरडीए के नेतृत्व में तैयार की गई।


जिले में प्राथमिक और उच्च प्राथमिक 1596 परषदीय स्कूल हैं। इनमें करीब डेढ़ लाख के लगभग बच्चे शिक्षा ग्रहण करते हैं। इनको सात हजार शिक्षक पढ़ाते हैं। शासन की ओर से परिषदीय स्कूलों को अंग्रेजी मीडियम की तर्ज पर बनाने के लिए आदेश जारी किए जाते रहते हैं। ताकि बच्चों को सीबीएसई स्कूलों की तर्ज पर सुविधाएं मिल


सकें। इसके अलावा अधिकारी भी समय-समय पर स्कूलों का निरीक्षण करते हैं। इसी के चलते शनिवार को सीडीओ के आदेश पर जिले के स्कूलों में छापेमारी करने के आदेश दिए गए। इसके बाद अधिकारियों ने सुबह साढ़े सात बजे से स्कूलों में छापेमारी शुरू कर दी। विकासखंड सैदनगर, स्वार, शाहबाद, चमरौआ, टांडा के स्कूलों में शिक्षकों की उपस्थिति चेक की। इस दौरान 141 स्कूलों में छापेमारी की गई।


इसमें 122 शिक्षक नदारद मिले। इस कार्रवाई से शिक्षकों में हड़कंप मच गया। विकास भवन में शनिवार देर रात 11 बजे तक बाबूओं ने सभी ब्लाकों से सूची मंगाकर मुख्य सूची तैयार कर सीडीओ डा. नंद किशोर कलाल के समक्ष पेश की। मुख्य विकास अधिकारी ने कहा कि स्कूलों से नदारद रहने वाले शिक्षकों से स्पष्टीकरण लिया जाएगा। स्पष्टीकरण से संतुष्टी नहीं होने पर विभागीय कार्रवाई की जाएगी।


जिला समाज कल्याण अधिकारी व बीडीओ रहे टीम में शामिल

सीडीओ के आदेश पर शनिवार को जिला समाज कल्याण अधिकारी, सहायक विकास अधिकारी पंचायत, खंड विकास अधिकारी मिलक, जिला अत्यंसख्यक कल्याण अधिकारी, जिला पंचायत राज अधिकारी, खंड विकास अधिकारी बिलासपुर, सहायक निबंधक सहकारिता, सहायक अभियन्ता लघु सिंचाई समेत काफी अधिकारियों ने स्कूलों में छापेमारी करके रख-रखाव को भी चेक किया। इस कार्रवाई से शिक्षकों में हड़कंप मचा रहा।


कोई रास्ते में तो कोई शिक्षक वाहन का करता रह गया इंतजार
शनिवार को भी रोजाना की तरह शिक्षक तैयार होकर स्कूलों के लिए रवाना हो गए। इनमें से कुछ शिक्षिकाएं रास्ते में सवारियों का इंतजार करती रह गई। अधिकारी स्कूलों में निरीक्षण करने पहुंच गए। इस कार्रवाई से जिले के सभी सात हजार शिक्षकों में खलबली मची रही। बहुत से शिक्षकों को किसी तरह से पता चला तो आनन-फानन में स्कूलों में पहुंच गए।