25 November 2025

बीएलओ के आत्महत्या करने के आरोपों पर आयोग ने मांगी रिपोर्ट

 नई दिल्लीः उत्तर प्रदेश, बंगाल सहित देश के 12 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में चल रहे मतदाता सूची के विशेष सघन पुनरीक्षण (एसआइआर) के दौरान जिस तरह बूथ लेवल अधिकारियों (बीएलओ) की मौतों व आत्महत्याओं की घटनाएं सामने आ रही हैं और उन्हें काम के कथित दबाव से जोड़ा जा रहा है, उससे चिंतित चुनाव आयोग फिलहाल यह जानने में जुटा है कि इसमें कितनी सच्चाई है। आयोग ने इसे लेकर राज्यों के मुख्य निर्वाचन पदाधिकारियों (सीईओ) से रिपोर्ट मांगी है। साथ ही आयोग ने बीएलओ की मौतों और आत्महत्या की घटनाओं को काम के दबाव से जोड़े जाने पर हैरानी भी जताई है।

बिहार में 450 बीएलओ हुए थे निलंबित, एक भी आत्महत्या की नहीं मिली थी रिपोर्ट


से कम समय में एसआइआर हुआ, लेकिन वहां ऐसी एक भी घटना देखने को नहीं मिली। जबकि बिहार में एसआइआर के दौरान काम में लापरवाही बरतने के आरोप में करीब 450 बीएलओ को निलंबित भी किया गया था। आयोग से जुड़े वरिष्ठ अधिकारियों का कहना है कि राज्यों से रिपोर्ट मिलने के बाद वे जरूरी और सख्त कदम उठाएंगे। आयोग की बीएलओ की कथित आत्महत्या की घटनाओं को लेकर चिंता इसलिए भी है क्योंकि एसआइआर के दौरान वे


चुनाव आयोग में सीधे प्रतिनियुक्ति पर होते हैं। ऐसे उनकी सुरक्षा व स्वास्थ्य की पूरी जिम्मेदारी आयोग की बनती है।


आयोग ने पिछले दिनों बीएलओ के कार्य को देखते हुए उन्हें मिलने वाले भत्तों को दोगुना कर दिया था। यानी उन्हें पहले सालाना सिर्फ छह हजार रुपये ही मिलते थे, जिसे बढ़ाकर 12 हजार रुपये कर दिया गया। वहीं, एसआइआर के दौरान दिए जाने वाले दो हजार के अतिरिक्त मानदेय को भी बढ़ाकर छह हजार रुपये कर दिया था।



उनकी दक्षता बढ़ाने के लिए आयोग ने बड़ी संख्या में बीएलओ को दिल्ली बुलाकर प्रशिक्षण भी दिया था। इस बीच, एसआइआर में लगे बीएलओ की मौत और कथित आत्महत्याओं के मामलों के तूल पकड़ने पर राज्यों में भी इसे लेकर सक्रियता दिखने लगी है। केरल के कोट्टायम में एक बीएलओ के काम के दबाव से परेशान होने से जुड़ा एक वीडियो प्रसारित होने पर राज्य के मुख्य निर्वाचन अधिकारी और जिला निर्वाचन अधिकारी ने तुरंत ही सीधे बीएलओ से वीडियो काल


पर बात की और उससे परेशानी का कारण पूछा। बीएलओ ने कोई परेशानी नहीं बताई, बल्कि कहा कि उसने अपना काम तय समय में पूरा कर लिया है। बीएलओ की मदद के लिए अतिरिक्त कर्मचारियों को लगाने का आश्वासन दिया गया।


एसआइआर के दौरान कथित दबाव के चलते बीएलओ की आत्महत्याओं के मुद्दे को रविवार का राहुल गांधी ने एक्स के जरिये उठाया था और कहा था, 'एसआइआर के नाम पर देशभर में अफरा-तफरी मचा रखी है। नतीजा तीन हफ्तों में 16 बीएलओ की जान चली गई। हार्ट अटैक, तनाव, आत्महत्या। एसआइआर थोपा गया जुल्म है।