यूपीआई भुगतान का फर्जीवाड़ा रोकने को नया नियम एक से

 

यूपीआई का इस्तेमाल करने वालों के लिए बड़ी खबर है। भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम के नए नियम के मुताबिक एक फरवरी से यूपीआई सेवा देने वाली ऐप कंपनियों को लेनदेन आईडी जनरेट करने के लिए केवल अल्फान्यूमेरिक (अक्षर और संख्याएं) वर्णों का उपयोग करना होगा। अगर ऐसा नहीं होता है तो संबंधित ग्राहक के यूपीआई खाते में लेनदेन बंद हो जाएगा।



राष्ट्रीय भुगतान निगम ने यह कदम यूपीआई लेनदेन को पूरी तरह सुरक्षित करने के लिए उठाया है। इस निर्देश का पालन करने की पूरी जिम्मेदारी भुगतान ऐप की होगी।


पैन कार्ड को अब पहचान सत्यापन के तौर पर भी इस्तेमाल किया जाएगा। भारतीय दिवाला एवं शोधन अक्षमता बोर्ड के बुधवार को जारी संशोधित तकनीकी दिशा-निर्देशों के अनुसार, इन्सॉल्वेंसी एंड बैंकरप्सी कोड में कॉर्पोरेट देनदारों की जानकारी में पैन कार्ड को अन्य आधिकारिक रूप से वैध दस्तावेजों के बराबर शामिल किया गया है। जानकारों का कहना है कि पैन कार्ड को पहचान सत्यापन के लिए मान्य करने से वित्तीय प्रक्रिया आसानी से पूरी होगी।


प्रत्येक यूपीआई भुगतान की पहचान करना आसान होगा


35 वर्णों की होगी आईडी

एनपीसीआई के अनुसार, सभी यूपीआई ट्रांजेक्शन आईडी 35 वर्ण की होनी चाहिए। आईडी में कोई भी विशेष अक्षर नहीं होना चाहिए।


वैध ट्रांजेक्शन आईडी upi1234567890abc12345

अमान्य ट्रांजेक्शन आईडी upi@123456!7890#abcd


विशेषज्ञों के अनुसार, वर्तमान में कई यूपीआई ऐप प्रत्येक ट्रांजेक्शन आईडी बनाने के लिए अपने स्वयं के सिस्टम का पालन करते हैं, जिससे लेनदेन का पता लगाना मुश्किल हो जाता है।

जब कोई ग्राहक शिकायत करता था और ट्रांजेक्शन आईडी का हवाला देता था तो वे इसे आसानी से ट्रेस नहीं कर पाते थे। इसलिए, अब ट्रांजेक्शन आईडी को अनिवार्य रूप से मानकीकृत करने का प्रस्ताव राष्ट्रीय भुगतान निगम (एनपीसीआई) ने दिया है। अब यदि किसी ट्रांजैक्शन आईडी में विशेष वर्ण पाए जाते हैं, तो उसे केंद्रीय प्रणाली द्वारा अस्वीकृत कर दिया जाएगा।


ये अक्षर नहीं चलेंगे

कई मामलों में यूपीआई ऐप ट्रांजेक्शन आईडी खास अक्षरों वाली बना रहे हैं यानी उनमें अंकों और अक्षरों के अलावा , , , , जैसे विशेष चिन्ह भी शामिल कर दिए जाते हैं। एनपीसीआई ने डिजिटल भुगतान की प्रक्रिया को मजबूत बनाने के लिए आदेश जारी किया है कि यह आईडी सिर्फ अंकों और अक्षरों वाली होनी चाहिए।

बैंकिंग नियमों में बदलाव

कोटक महिंद्रा बैंक ने अपने ग्राहकों को बैंकिंग सेवाओं और शुल्कों में बदलाव के बारे में सूचित किया है। इसमें एटीएम लेन-देन की सीमा में बदलाव और अन्य बैंकिंग सेवाओं के लिए फीस में बदलाव शामिल हैं।