लखीमपुर में राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने कहा कि नई शिक्षा नीति में आंगनबाड़ी से यूनिवर्सिटी तक शिक्षा का सेतु बनाने की जरूरत है। पुराने पैटर्न पर चल रही शिक्षा व्यवस्था में बदलाव करके अब नई शिक्षा नीति लागू की गई है। राज्यपाल ने कहा कि विदेशी बच्चे तभी भारत में पढ़ने आएंगे जब क्वालिटी एजुकेशन होगा, अच्छी लाइब्रेरी, छात्रावास व अन्य सुविधाए मिलेंगी। वह रविवार को पं.दीनदयाल उपाध्याय इंटर कालेज में आयोजित संयुक्त मेधा अलंकरण समारोह में बतौर मुख्य अतिथि कार्यक्रम को संबोधित कर रही थीं।
रविवार को लखीमपुर पहुंचीं राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने कलक्ट्रेट में अधिकारियों के साथ बैठक की। उन्होंने कई योजनाओं की समीक्षा की। साथ ही बालिका शिक्षा को बढ़ावा देने, बाल विवाह व दहेज प्रथा रोकने के लिए ठोस कार्य योजना बनाने का निर्देश दिया। राज्यपाल ने कलक्ट्रेट में बीसी सखियों व किसानों से संवाद किया। इसके बाद मेधा अलंकरण समारोह में पहुंचीं राज्यपाल आनंदीबेन पटेल ने कहा कि नेपाल से सटे खीरी जिले में शिक्षा का बहुत महत्व है। उन्होंने कहा कि यूनिवर्सिटी में शिक्षा का बदलाव हो रहा है, बच्चों को मल्टिपल च्वाइस मिले। बहुत खुशी है कि कई यूनिवर्सिटी में नई शिक्षा नीति लागू हो गई है। बच्चों को क्वालिटी एजुकेशन मिले, इस पर फोकस किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति में 15 बच्चों पर एक शिक्षक हो। एससी, एसटी सीट पर कितने आवेदन आए अगर सीटें खाली हैं तो उनको भरा जाए। कार्यक्रम को विद्या भारती के राष्ट्रीय मंत्री डॉ. शिव कुमार ने भी संबोधित किया।