PRIMARY KA MASTER: गड़बड़ी के आरोप में दो प्रधानाध्यापक किए गये निलंबित, जानें क्या है मामला

बहराइच : बेसिक शिक्षा विभाग की ओर से संचालित प्राथमिक विद्यालयों में सब कुछ ऑल इज वेल होने का दावा किया जा रहा है, लेकिन सच्चाई इसके विपरीत नजर आ रहा है। कहीं नौनिहालों को मिड डे मील का लाभ नहीं मिल रहा तो कहीं कक्षाएं ही नहीं संचालित हो रहीं। इसकी शिकायतें मिलने पर बीएसए अजय कुमार ने वित्तीय विकास खंड के कई विद्यालयों का निरीक्षण कर जायजा लिया। इस दौरान अनियमितताएं मिलने पर दो प्रधानाध्यापकों को निलंबित करते हुए कई शिक्षकों व शिक्षामित्रों का वेतन अग्रिम आदेशों तक बाधित कर दिया है।







प्राथमिक विद्यालय भौखरा में निरीक्षण के दौरान यहां तैनात शिक्षामित्र अजरा बानो बिना किसी सूचना के अनुपस्थित मिली जबकि विद्यालय में नामांकित 186 छात्रों के सापेक्ष मात्र 11 छात्र ही विद्यालय में उपस्थित मिले। विद्यालय में तैनात शिक्षकों द्वारा कक्षाओं के संचालन में रूचि न लेने को बात भी सामने आई। जिस पर विद्यालय के सभी शिक्षकों का वेतन/मानदेय अग्रिम आदेशों तक बाधित किया गया।



रिसिया विकास खंड के ही प्राथमिक विद्यालय लीलापारा में भी शिक्षामित्र सरोज सिंह बिना किसी सूचना के विद्यालय से अनुपस्थित रहीं। प्रधानाध्यापिका द्वारा अवकाश पुस्तिका पर किसी प्रकार का अंकन नहीं किया गया था विद्यालय में नामांकित 120 छात्रों के सापेक्ष महज पांच छात्र हो उपस्थित पाए गए। ऐसे में अनुपस्थित शिक्षामित्र एवं प्रभारी प्रधानाध्यापिका रामली पांडेय का वेतन/मानदेय  आदेशों तक कर दिया गया। इसी प्रकार प्राथमिक विद्यालय बड़ेहरा में निरीक्षण के दौरान प्रधानाध्यापिका सोमा जावेद एवं शिक्षामित्र राजकुमार पेड़ के नीचे बैठे मिले।


 


यहां मौजूद नौनिहालों द्वारा मिड डे मील में दूध न मिलने की बात कही। यहां भी 86 छात्र-छात्राओं के सापेक्ष मात्र दस छात्र उपस्थित मिले। प्रधानाध्यापिका सोमा बानी को तत्काल निलंबित करते हुए शिक्षामित्र राजकुमार का मानदेय अग्रिम आदेशों तक चापित किया गया। इसी प्रकार सविलियन विद्यालय भवनियापुर मटेरा में प्राथमिक स्तर पर पंजीकृत 168 विद्यार्थियों के सापेक्ष 25 एवं उच्च प्राथमिक विद्यालय में नामांकित 161 विद्यार्थियों के सापेक्ष मात्र 12 छात्र ही उपस्थित मिले। यहां भी प्रधानाध्यापिका को निलंबित करते हुए अन्य अनुपस्थित कर्मियों से सष्टीकरण तलब करते हुए उनका मानदेय/ वेतन भी अग्रिम आदेशों तक बाधित किया है।