प्रयागराज। यूपी बोर्ड की हाईस्कूल और इंटरमीडिएट परीक्षा 2025 के मूल रिकॉर्ड से कोई छेड़छाड़ नहीं कर सकेगा। बोर्ड ने इस साल से अंकपत्र सह प्रमाणपत्र के कागज में बड़ा बदलाव किया है। जिस कागज पर अंकपत्र छपवाया गया है, उसमें अंकित प्रविष्टियों में किसी प्रकार का अवांछित बदलाव या खुरच कर लिखना संभव नहीं है। अंकपत्र की फोटोकॉपी करने पर प्रतिलिपि में हमेशा फोटोकॉपी लिखकर आएगा।
बोर्ड ने उसी कागज पर टैबुलेशन रिकॉर्ड (टीआर) छपवाया है। यही टीआर बोर्ड के अभिलेखों में रहता है और इसी के आधार पर सत्यापन करवाया जाता है। चूंकि कागज में बदलाव हो गया है, ऐसे में टीआर से छेड़छाड़ संभव नहीं है। 2016 में टीआर में छेड़छाड़ करके राजकीय माध्यमिक विद्यालयों में एक दर्जन से अधिक सहायक अध्यापक (एलटी ग्रेड) की भर्ती कर दी गई थी। यह मामला आज तक चल रहा है और कुछ समय पहले एफआईआर दर्ज करवाई गई थी। इसी प्रकार की घटना को रोकने के लिए नए कागज पर छपा टीआर मददगार होगा।