30 October 2025

सख्ती: डिजिटल उपस्थिति न भरने पर वेतन रोकने के आदेश, वित्त एवं लेखाधिकारी को लिखे पत्र से शिक्षक परेशान



● वित्त एवं लेखाधिकारी को लिखे पत्र से शिक्षक परेशान


● जिले में संचालित 2484 परिषदीय विद्यालयों में नौ हजार शिक्षक



बरेली,  जिले में संचालित 2484 परिषदीय विद्यालयों में डिजिटल छात्र उपस्थिति पंजिका भरने में लापरवाही बरतना अब भारी पड़ गया है। जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी संजय सिंह ने वित्त एवं लेखाधिकारी को पत्र लिखकर जिन विद्यालयों में डिजिटल उपस्थिति शून्य प्रदर्शित हो रही है, वहां के सभी स्टाफ प्रधानाध्यापक, शिक्षक, शिक्षामित्र, अनुदेशक का अक्तूबर माह का वेतन अग्रिम आदेशों तक रोकने के आदेश दिए हैं। यह आदेश महानिदेशक स्कूल शिक्षा लखनऊ के निर्देशों के क्रम में जारी किया गया है, जिसके तहत सभी विद्यालयों को प्रतिदिन ऑनलाइन उपस्थिति दर्ज करनी अनिवार्य की गई है।


बीएसए की ओर से जारी इस आदेश से शिक्षकों में हड़कंप मच गया है। बड़ी संख्या में शिक्षकों ने तकनीकी परेशानियों का हवाला दिया है। शिक्षकों का कहना है कि पहले मैन्युअल रजिस्टर में हाजिरी दर्ज करनी पड़ती है, फिर ऑनलाइन उपस्थिति भरना और रजिस्टर पेज अपलोड करना पड़ता है, जो कमजोर नेटवर्क की वजह से काफी कठिन हो जाता है। ऐसे में ऑनलाइन हाजिरी दर्ज करना संभव नहीं है। जिले के 2484 विद्यालयों में करीब नौ हजार शिक्षकों और दो हजार शिक्षामित्र कार्यरत हैं, जिनमें से लगभग 90 प्रतिशत स्कूलों के कर्मचारियों का वेतन अब रोके जाने की संभावना है। शिक्षक नेता हरीश बाबू, नरेश बाबू गंगवार, शिवस्वरूप शर्मा, कालीचरण आदि ने डिजिटल सिस्टम की तकनीकी खामियों को दूर किए बिना कार्रवाई न करने की मांग की है।


खंड शिक्षा अधिकारियों का भी रोका जाएगा वेतन

बीएसए संजय सिंह ने बताया कि प्रदेश स्तर पर बरेली जिले की स्थिति डिजिटल उपस्थिति दर्ज करने में काफी खराब है। बीएसए ने स्पष्ट किया कि जिन विद्यालयों की उपस्थिति शून्य दिख रही है उन विद्यालयों के समस्त स्टॉफ का अक्तूबर माह का वेतन रोकने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने बताया कि खराब स्थिति वाले ब्लॉक के खंड शिक्षा अधिकारियों का भी वेतन रोकने के निर्देश उन्होंने दिए हैं।