लखनऊ। राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के तहत प्रदेश में स्कूली शिक्षा अब नए स्वरूप में दिखेगी। बेसिक शिक्षा विभाग बच्चों को पढ़ाई के साथ उन्हें नए प्रयोगों और स्थानीय उद्योगों से भी परिचित कराएगा। इसके तहत कक्षा 6, 7 और 8 के विद्यार्थियों के लिए हर शैक्षिक सत्र में 10 बैगलेस दिवस अनिवार्य किए गए हैं।
राज्य शैक्षिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (एससीईआरटी) ने इस संबंध में सभी बीएसए को विस्तृत निर्देश दिए हैं। इसका उद्देश्य बच्चों को आनंदपूर्ण, कौशल आधारित और अनुभव आधारित शिक्षा से जोड़ना है। बैगलेस दिवसों में छात्र शैक्षिक भ्रमण, प्रयोग करके सीखने, केस स्टडी, कला-शिल्प, खेल, वैज्ञानिक गतिविधियों में शामिल होंगे। केस
स्टडी में वे वास्तविक जीवन की परिस्थितियों को समझेंगे और उससे सीखेंगे।
एससीईआरटी के निदेशक डॉ. गणेश कुमार ने कहा कि गतिविधियों की सूची बनाई गई है। इसे विज्ञान व प्रौद्योगिकी, स्थानीय उद्योग-व्यवसाय तथा कला-संस्कृति व इतिहास श्रेणियों में बांटा गया है। हर गतिविधि में कारीगर, शिल्पकार, विशेषज्ञ, अभिभावक और समुदाय की भागीदारी सुनिश्चित होगी। विशेष आवश्यकता वाले बच्चों के लिए भी समावेशी योजना बनाई गई है।

