प्रयागराज : इलाहाबाद हाई कोर्ट ने प्रदेश सरकार से कहा कि वह क्यों नहीं अपने बनाए कानूनों को सरकारी वेबसाइट पर अपलोड कर रही है? कोर्ट ने कहा कि सरकार के बनाए कानून और उन कानूनों में हुए संशोधन का प्राइवेट प्रकाशकों द्वारा सही प्रकाशन न करने से न्यायिक व्यवस्था से जुड़े लोगों को परेशानी होती है।
गलत प्रकाशित कानूनों के चलते कोर्ट को भी केसों की सुनवाई के दौरान सही जानकारी नहीं मिलती है। मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति राजेश ¨बदल व न्यायमूर्ति पीयूष अग्रवाल की खंडपीठ ने कहा कि यह सरकार का दायित्व है कि वह अपने बनाए कानूनों को सरकारी वेबसाइट पर अपलोड करें, जिससे आम जनता व कानून के क्षेत्र से जुड़े लोगों को उसकी सही जानकारी मिल सके।