20 May 2025

यूपीआई से खरीदारी पर छूट की तैयारी: उपभोक्ता मामलों का मंत्रालय तैयार कर रहा योजना, जून में फैसले की संभावना

 जल्द ही यूपीआई कोड स्कैन करके खरीदारी करना क्रेडिट कार्ड स्वाइप करने से सस्ता हो सकता है। उपभोक्ता मामलों का मंत्रालय एक ऐसी योजना पर काम कर रहा है, जिसके तहत यूपीआई से होने वाली खरीदारी पर ग्राहकों को छूट मिलेगी। प्रस्तावित योजना यूपीआई के फायदों को ग्राहकों तक पहुंचाने और इसके इस्तेमाल को बढ़ावा देने के लिए है।


इस मामले से जुड़े तीन उच्च पदस्थ सूत्रों ने बताया कि मंत्रालय जल्द ही उद्योग के हितधारकों के साथ इस संबंध में बैठक करेगा। वर्तमान में जब कोई ग्राहक क्रेडिट कार्ड स्वाइप से भुगतान करता है तो दुकानदार को 2-3% की फीस देनी पड़ती है, जिसे मर्चेंट डिस्काउंट रेट (एमडीआर) कहा जाता है। यह फीस बैंक और वीजा या मास्टरकार्ड जैसी पेमेंट गेटवे कंपनियों को जाती है। ज्यादातर दुकानदार यह फीस ग्राहकों से नहीं लेते, बल्कि खुद वहन करते हैं। उदाहरण के लिए 100 रुपये के क्रेडिट कार्ड भुगतान में दुकानदार को 98 रुपये मिलते हैं और दो रुपये एमडीआर के रूप में कट जाते हैं। लेकिन यूपीआई में कोई एमडीआर नहीं है, यानी दुकानदार को पूरे 100 रुपये मिलते हैं। मंत्रालय इस योजना को अंतिम रूप देने से पहले ई-कॉमर्स कंपनियों, बैंकिंग सेवा प्रदाताओं, भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम, वित्तीय सेवा विभाग और उपभोक्ता समूहों से बात करेगा।


यह योजना अभी शुरुआती चरण में है और जून में होने वाली बैठक के बाद इसे लागू करने पर फैसला लिया जा सकता है। इस प्रस्तावित योजना पर उपभोक्ता अधिकार संगठन कंज्यूमर वॉयस के सीईओ अशिम सान्याल ने कहा कि यह कदम ग्राहकों के लिए बहुत फायदेमंद होगा। यूपीआई से भुगतान करने वालों को इनाम मिलेगा।


42% से अधिक वृद्धि: यह योजना ऐसे समय में आ रही है, जब यूपीआई ने अन्य सभी भुगतान माध्यमों को पीछे छोड़ दिया है और देश में सबसे ज्यादा इस्तेमाल होने वाला भुगतान तरीका बन गया है।


यूपीआई ने अन्य सभी भुगतान माध्यमों को पीछे छोड़ दिया है और देश में सबसे ज्यादा इस्तेमाल होने वाला भुगतान तरीका बन गया है।


ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म पर यह अंतर स्पष्ट दिखता है, जहां भुगतान का तरीका चाहे जो हो, फीस एक जैसी रहती है। रिटेल दुकानों पर कुछ दुकानदार ग्राहकों से एमडीआर को वसूलते हैं, जबकि ज्यादातर खुद वहन करते हैं। अगर यूपीआई से खरीदारी पर छूट देने की प्रस्तावित योजना लागू होती है, तो यूपीआई से सामान खरीदने पर भुगतान करने वाले ग्राहक को 100 रुपये की खरीदारी पर सिर्फ 98 रुपये देने होंगे। यानी ग्राहक को 2% की छूट मिलेगी। इसका मतलब है कि पेमेंट गेटवे कंपनियां अपनी फीस छोड़ सकती हैं। वहीं, क्रेडिट कार्ड से भुगतान करने वाले को पूरे 100 रुपये देने होंगे।